बहुत सुन्दर सिद्धांत है, ये सृष्टि के बारे में बहुत बड़ा सीक्रेट है। आप लोगो के सामने ही है, आप इसपे आगे चिंतन बढ़ाना।
"जो कुछ हम सोच रहे हैं , उसकी तरंगे उठ रही हैं।"
आपमें से बहुत जानते होंगे जिन्होंने फिजिक्स पढ़ी है। कॉमन बात है - जो कुछ हम बोलते हैं, साउंड वेव्स के रूप में फैलती है। लाइट रेज़ के रूप में फैलती है। हमारे मन के संकल्प वाइब्रेशन के रूप में फैलते हैं। मैं इन्हे तरंगे कह रहा हूँ। जो आप सोच रहे हैं , उसकी तरंगे चारो ओर फ़ैल रहीं हैं।
आप घर में बैठकर , मान लो मैं एक उदाहरण देता हूँ , जो मैं सिखाया करता हूँ वो तो ये है , और रिजल्ट सचमुच मैजिकल आया,
सुबह उठते ही, पांच बार खुले मन से याद करना - "मैं संसार में बहुत भाग्यवान व्यक्ति हूँ "
"I am the most fortunate person in this world".
तो क्या होगा , अब ये तरंगे फैलने लगी चारों ओर। अगर सुबह ये किया तो क्योकि प्रकृति शांत है। आपको ये पता होगा ये सीक्रेट। इससे प्रकृति में गुंजन पैदा हो गया। नीचे से कही से आवाज आ रही है, मैं इस सृष्टि में बहुत भाग्यवान हूँ। प्रकृति ने आपकी इन तरंगों को स्वीकार कर लिया। ये प्रकृति में छा गयी और प्रकृति आपके ऊपर भाग्य की बरसात करने लगेगी। ये होगा। ये है सीक्रेट।
इसलिए जो कुछ आप चाहते हैं , कॉन्फिडेंटली (पूर्ण विश्वास के साथ ) , और सवेरे उठ कर ये करेंगे, पांच बार कर दो खुले मन से। वही चीज़े वापस कई गुना होकर आपके पास आ जाएँगी। अगर आपको जीवन में सफलता नहीं मिल रही है , जो कईओ को होता है , सफलता कम मिल रही है। तो सवेरे उठ के तीन विचार कर देना पांच पांच बार।
पहला विचार वही
"मैं मास्टर ऑलमाइटी हूँ " -इससे आपकी शक्तियाँ जग गयीं।
दूसरा विचार
"मैं बहुत भाग्यवान हूँ '
और तीसरा विचार
"सफलता मेरा जन्मसिद्ध अधिकार है "
तो सफलता आपके चरणों में आने लगेगी, कुछ ही दिनों के बाद। लेकिन इसमें चाहिए आपको पूर्ण विश्वास। मेहनत जो आप कर रहे हो वो तो करते ही रहना है लेकिन full कॉन्फिडेंस होगा तो सफलता आपके चारों ओर घूमने लगेगी। तो ये संकल्प शक्ति का बहुत ही सुन्दर प्रयोग है।
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